ब्रेकिंग :छत्तीसगढ़ के नक्सल पीड़ित परिवार 6 मार्च को कई मांगो को लेकर रायपुर नेशनल हाईवे में करेगे चक्काजाम…….

रायपुर छत्तीसगढ़ राज्य के नक्सल पीड़ित परिवार के लिए केंद्र शासन, राज्य शासन द्वारा नक्सल पीड़ित पुनर्वास कार्य योजना बनाया गया है । योजना के तहत पीड़ित परिवार को शासकीय नौकरी, जिला मुख्यालय में मकान, बस पास, राशन कार्ड, बच्चों के पढ़ाई के लिए छात्रवृत्ति, नक्सल पिड़ित प्रमाण पत्र, मेडिकल कॉर्ड, बेरोजगार युवाओं को स्वरोजगार हेतु शहरी क्षेत्र नगर निगम के तहत निशुल्क दुकान देने का प्रावधान है ।नक्सल पुनर्वास योजना का पुनर्वास करने हेतु जिला स्तर में 120 दिन का समय समय निर्धारित किया गया है
अगर कुछ कारणवश जिला स्तर में प्रकरण में कार्रवाई करने में कठिनाई होती है तो ऐसे प्रकरण में राज्य स्तरीय पुनर्वास समिति को भेजा जाएगा जिसमें राज्य स्तरीय समिति द्वारा प्रकरण को 60 दिवस के अंदर समाधान कर पीड़ित परिवार को पुनर्वास किया जाएगा । बीस साल से जिले में कई एसपी कई जिला कलेक्टर आए लेकिन पीड़ित परिवारको दरकिनार करते हुए योजना का लाभ नहीं दिया गया पीड़ित परिवार 20 साल से भटकने को मजबूर हो रहे हैं जिस कारण पीड़ित परिवार योजना का लाभ लेने आर पार की लड़ाई लड़ने को तैयार हो गए हैं छत्तीसगढ़ राज्य के नक्सल हिंसा पीड़ित परिवार कोयोजना का लाभ नहीं मिलता तो 6 मार्च 2022 को रायपुर में चक्का जाम किया जाएगा।
जिसमें छत्तीसगढ़ राज्य के जिला राजनांदगांव, कांकेर, नारायणपुर, धमतरी, गरियाबंद, बीजापुर, दंतेवाड़ा, सुकमा, जगदलपुर, कोंडागांव, कवर्धा, महासमुंद, बलोदा बाजार,और गरियाबंद के पिड़ित परिवार शामिल होंगे । कार्यक्रम में जन सेवा सन्गठन के प्रदेशाध्यक्ष विजय प्रकाश गुप्ता,सचिव रूपेंद्र शर्मा, सलाहकार गाजी जी अधिवक्ता, शकील अहमद अधिवक्ता, अरुण गुप्ता अधिवक्ता/विश्व हिंदू परिषद विभाग मंत्री, दुर्ग सम्भाग, बी. एस. निषाद रिटायर्ड थाना प्रभारी, किशोर सेठिया कोंडागांव, धनसिंग पोटाई नारायणपुर, जी.आर विश्कर्मा कांकेर, से नक्सल पिड़ित परिवार के सदस्य उपस्थित थे ।
नक्सल पीड़ित परिवार के लिए शासन त्वरित कार्यवाही करने का कष्ट करें जिससे कि 6 मार्च को हमारा दिया गया अल्टीमेटम ना करना पड़े शासन को ऐसी कुछ नीति नक्सल पीड़ित परिवार के लिए बनाया जाए हमारा उद्देश्य शासन के कार्य में अवरोध डालना नहीं है लेकिन अगर हमारी मांगों को शासन नहीं सुनता है तो 6 मार्च को छत्तीसगढ़ नक्सल पीड़ित परिवार चक्का जाम करने के लिए मजबूर होगा।