किसानों ने किया चक्काजाम कर प्रदर्शन, पढ़े पूरी खबर…
कांकेर: कांकेर शहर के बाइपास मार्ग में 10 से अधिक गांव के ग्रामीण किसानों ने सड़क मरम्मत और लो वोल्टेज की समस्या को लेकर करीब ढाई घंटे तक चक्काजाम कर प्रदर्शन किया। इस दौरान बाइपास मार्ग बाधित रहा और वाहनों की लंबी कतार लग गई। प्रशासन द्वारा 15 दिनों के भीतर समस्या का समाधान करने के आश्वासन पर ग्रामीण मार्ग से हटे और यातायात बहाल किया गया। दरअसल, लंबे समय से बाइपास मार्ग से लगे आसपास के 10 गांवों के ग्रामीण खस्ताहाल सड़क और बिजली की समस्या से परेशान है।
भारी वाहनों के चलने की वजह से सड़क पर हुए बड़े-बड़े गड्ढों के कारण लोग हादसों का शिकार हो रहे हैं, तो वहीं लो वोल्टेज व बिजली काटने से किसानों की फसल चौपट हो रही है। बिजली की समस्या से बच्चों की पढ़ाई भी प्रभावित है। शिकायत के बाद भी विभागों की अनदेखी से आक्रोशित ग्रामीणों ने बाइपास मार्ग जाम कर दिया। ग्रामीण सड़क पर टेंट लगाकर लगभग ढाई घंटे बैठे रहे।
ग्रामीणों का कहना है कि अगर शासन-प्रशासन उनकी समस्याओं का जल्द निराकरण नहीं करेगी, तो आगे उग्र आंदोलन किया जाएगा। ग्रामीण चुनेश्वर जैन ने बताया कि 15 से 20 गांवों के ग्रामीण आज यहां धरना प्रदर्शन कर चक्काजाम किया है। बारदेवरी से कांकेर मुख्यालय पहुंच मार्ग और बिजली की समस्या को लेकर हम लगातार प्रशासन को अवगत कराते आए है इससे पहले भी प्रदर्शन किए हैं लेकिन प्रशासन हमारी मांगो को अनसुना किया जाता रहा है।
बिजली विभाग कायरता पूर्ण रवैया अपना रहा है। चाहे किसानों के लिए हो या बच्चों के लिए हो या आम नागरिक के लिए हो पिछले 2 महीने से हर 1-2 मिनट में घर में बिजली के बटन को जैसे ऑन ऑफ करते हैं उस तरीके से पूरे क्षेत्र में बिजली को बंद कर देते हैं।
अभी बच्चों का बोर्ड एग्जाम चल रहा है, बच्चे पढ़ाई कैसे करेंगे जब बिजली ही नहीं रहेगा। बिजली विभाग आज हम लोगों को 1947 की याद दिला रहे हैं, जब हमारे बाप दादा पूर्वज लोग चिमनी में पढ़ाई करते थे। वही समस्या आज इस पूरे क्षेत्र में हो गया है। हमारे बच्चे चिमनी जलाकर पढ़ाई करने को मजबूर हैं। बता दें कि राष्ट्रीय राजमार्ग 30 में माकड़ी में बना पूल जर्जर होने के कारण भारी वाहनों को पूल से गुजरने पर रोक लगा दिया गया। पूल बंद होने से भारी वाहनों को बाइपास से देवरी होते माकड़ी के लिए डाइवर्ट किया गया था। भारी वाहनों के चलते मार्ग पूरी तरह जर्जर हो चुका है। ग्रामीण लगातार मार्ग की मरम्मत की मांग कर रहे है।