छत्तीसगढ़बड़ी खबर

Tiles from cow dung: छत्तीसगढ़ की महिलाएं अब गोबर से बना रही टाइल्स, गोबर के प्रोडक्ट बेचकर महिलाएं कमा रही लाखों रुपये

नगर निगम ने गोकुल नगर जोन-6 के 2.5 एकड़ में गोठान का निर्माण किया है। यहां गोबर को बेचा नहीं जाता बल्कि इससे कई प्रकार की सामग्री बनाने का काम स्व-सहायता समूह की महिलाएं करती है। इन उत्पादों की बिक्री से गोठान को सालाना 30 लाख की आमदनी होती है, इससे समूह की महिलाएं आर्थिक रूप से सशक्त बन रही है और किसी पर निर्भर भी नहीं है।

बजट के ब्रीफकेस ने दिलाई पहचान
छत्तीसगढ़ में 2021-22 के बजट के लिए गोबर का ब्रीफकेस रायपुर के गोकुल नगर गोठान में बना था। एक पहल महिला स्व-सहायता समूह की नोमिन पाल ने समूह की अन्य महिलाओं के साथ इसे तैयार किया था। छत्तीसगढ़ के बजट के लिए गोबर का ब्रीफकेस बनाने समूह की महिलाओं को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सम्मानित भी कि उन्होंने महिलाओं को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि आपके द्वारा बनाए गए ब्रीफकेस की चर्चा पूरे देश भर में हो रही है।

Read More: CG NEWS: पुलिस पर पथराव के लिए ग्रामीणों को भड़काने वाला ‘मास्टर’माइंड निलंबित…

गोठान ने दिया संकट में सहारा
एक पहल स्व सहायता समूह की नोमिन पाल ने बताया कि पति के निधन के बाद घर चलाना मुश्किल हो गया था। 6 महीने बहुत दिक्कत हुई। अब गोठान के जरिए गोबर से निर्मित कई सामान बना रहे हैं। इससे महीने में लगभग 10 हजार रुपए कमा लेते हैं, जिससे अब वो आर्थिक रूप से सशक्त हुई है और अपने घर की जिम्मेदारियां संभाल रही है।

Read More: राशन कार्ड धारकों के लिए खुशखबरी! केंद्रीय कृष‍ि मंत्री ने किया बड़ा ऐलान पढ़िए पुए न्यूज़

Tiles from cow dung-गोठान में 400 से अधिक देसी गाय है, जिनसे हर रोज़ करीब 3 हजार किलो गोबर निकलता है। इस गोबर का उपयोग करके यहां 30 से ज्यादा प्रकार के उत्पाद बनाए जाते हैं। इन दिनों इस गोठान की महिलाएं गोबर से टाइल्स बनाने के काम में जुटी है। गोठान में ऐसे कई उत्पाद हैं जो दुनिया में पहली बार बने हैं, जिनमें गोबर की चप्पल, सूटकेस, घड़ियां, पेंटिंग्स शामिल है। गोठानों से महिलाएं आर्थिक रूप से सशक्त हुई है साथ ही प्रेरणा भी बन रही है।

Tiles from cow dung-गोठान में नवाचार से अनेक प्रकार के रोजगार सृजन हुए हैं। प्रत्यक्ष रूप से गोबर बेचकर तो लोगों को लाभ हो ही रहा है पर गोबर से जैविक खाद और अन्य उपयोगी वस्तुओं का निर्माण कर महिला स्व. सहायता समूह भी लाभ कमा रही है। इस स्व सहायता समूह में 13 महिलाएं काम करतीं हैं, जो गोवंश की देखभाल के साथ-साथ गोबर से विभिन्न उत्पाद बनातीं हैं, जिसमें देसी गाय के गोबर से, लकड़ी, कंडे, धुप, हवन सामग्री, खाद, गुलाल, मूर्तियां, गमले, टाइल्स, जैसी अलग-अलग सामग्रियां बनाई जाती है।

rjnewslive

Get live Chhattisgarh and Hindi news about India and the World from politics, sports, bollywood, business, cities, lifestyle, astrology, spirituality, jobs and much more. rjnewslive.com collects article, images and videos from our source. Which are using any photos in our website taking from free available on online.

Related Articles

Back to top button