
अमेरिका: भारत के साथ अच्छी दोस्ती के बाद भी अमेरिका में भारतीयों से हेट क्राइम बढ़े हैं। जानकारी के मुताबिक पिछले 2 साल में भारतीयों के साथ हेट क्राइम और हमले तेजी से बढ़े हैं। 4 हफ्ते के अंदर 4 भारतीयों की नस्लवादी हमलों में मौत हुई है। जबकि 24 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। वहीं पिछले एक साल में भारतीयों के खिलाफ हेट क्राइम और हमलों के 520 मामले सामने आए हैं, जो पिछले साल के 375 हमलों की तुलना में करीब 40% ज्यादा हैं।
बता दें कि हाल में न्यूयॉर्क में एक बुजुर्ग की हत्या का मामला सामने आया है। वहीं इंडियाना में एक भारतीय छात्र को चाकू मार दिया गया था, जो ICU में है। रिपोर्ट्स के मुताबिक हर दो में से एक भारतीय ने रंग के आधार पर भेदभाव की बात स्वीकार की है। हाल ही में 23 साल की भारतीय लड़की जाह्नवी को श्वेत पुलिसकर्मियों ने टक्कर मार दी थी। फिर वे अधिकारी बेशर्मी से मुआवजे को लेकर मजाक बना रहे थे।
भारतीयों पर हमलों की वजह
भारतीयों पर हमलों की वजह ये है कि श्वेत कट्टरपंथी अमेरिकी मानते हैं कि भारतीय उनके आर्थिक अवसर खत्म कर रहे हैं। कई पीड़ित भारतीयों का कहना है कि ट्रम्प की दूसरे कार्यकाल की दावेदारी के साथ ही हमले तेज हुए हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका के 6 राज्यों में से 5 में ट्रम्प अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन से आगे हैं। इसी बीच भारतीयों के खिलाफ बड़े पैमाने पर दुष्प्रचार भी किया जा रहा है। (Hate Crimes Against Indians)
भारतीयों के खिलाफ ग्रेट रिप्लेसमेंट थ्योरी
बताया जा रहा है कि भारतीयों के खिलाफ ग्रेट रिप्लेसमेंट थ्योरी फैला रहा है। अमेरिका के जरूरी पदों में भारतीय अमेरिकी लोगों को रिप्लेस कर रहे हैं। वे लोगों में ऐसी धारणा बना रहे हैं कि भारतीय अमेरिका को हथियाना चाहते हैं, लेकिन वे भारत को लेकर ज्यादा वफादार है। बाइडेन पर भारतीयों को अमेरिका में बसाने का आरोप है।
130 जरूरी पदों पर भारतवंशियों की नियुक्ति
भारतीय मूल की वैज्ञानिक स्वाति मोहन से बाइडेन ने कहा था कि यह चौकाने वाला है। भारतीय अमेरिकी देश पर कब्जा कर रहे हैं। आप अविश्वसनीय हैं। श्वेत कट्टरपंथियों ने बाइडेन की इसी बात को पकड़ लिया है। उनका मानना है कि बाइडेन ज्यादा से ज्यादा भारतीयों को अमेरिका में बसाना चाहते हैं। बाइडेन प्रशासन ने 130 जरूरी पदों पर भारतवंशियों की नियुक्ति की है, जो कट्टरपंथियों को खटकती है। अमेरिका की आबादी में एक फीसदी हिस्सेदारी वाले भारतीय 6% से ज्यादा टैक्स देते हैं। (Hate Crimes Against Indians)
60 कंपनियों के CEO भारतीय
जानकारी के लिए बता दें कि सालभर में भारतीय एक ट्रिलियन का योगदान देते हैं। यानी अमेरिका के हर 26 डॉलर में से 1 डॉलर का योगदान भारतीयों का होता है। भारतीयों की औसत आय एक लाख डॉलर प्रति वर्ष है। जबकि अमेरिकियों की 75 हजार डॉलर ही है। अमेरिका फॉर्च्यून-500 में शामिल 60 कंपनियों के CEO भारतीय हैं। शायद यही वजह है कि अमेरिकियों को भारतीयों की तरक्की बर्दाशत नहीं होती है। हालांकि इससे भारत और अमेरिका की दोस्ती पर ज्यादा प्रभाव नहीं पड़ा है।