श्योपुर; मध्य प्रदेश में चीतों की मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा. 14 जुलाई को फिर श्योपुर जिले में स्थित कूनो नेशनल पार्क में एक और चीते की मौत हो गई. इस चीते का नाम सूरज था. सूरज कूनो नेशनल पार्क में अज्ञात कारणों के चलते मृत अवस्था में मिला. इस घटना के बाद वन अमले में हड़कंप मचा हुआ है. 2 दिन पहले तेजस नाम के चीते की मौत हुई थी. सूत्र बताते हैं कि तेजस और सूरज की पिछले दिनों लड़ाई हुई थी. इस लड़ाई में गर्दन पर गहरा घाव लगने की वजह से तेजस की मौत हो गई. इस लड़ाई में सूरज भी गंभीर रूप से घायल था. उसने भी दम तोड़ दिया. सूत्र तो यहां तक बताते हैं कि अग्नि नाम के चीते के पैर में भी फ्रैक्चर है.
गौरतलब है कि कूनो नेशनल पार्क में अभी तक तीन शावकों सहित 8 चीतों की मौत हो चुकी है. तेजी के साथ बढ़ रहे चीतों की मौत के मामले को लेकर कूनो नेशनल पार्क की व्यवस्थाओं और जिम्मेदारों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े हो रहे हैं. बता दें, नामीबिया से 20 चीते कूनो आए थे. इनमें से 5 मर गए. एक शावक को मिलाकर अब 16 चीते बचे हैं.
दो दिन पहले हुआ ये घटनाक्रम
कूनो नेशनल पार्क में सूरज की मौत से दो दिन पहले तेजस नाम के चीते की भी मौत हो गई थी. सूत्र बताते हैं कि दोनों की आपस में लड़ाई हुई थी. इसी वजह से उसकी मौत हो गई. दरअसल, 11 जुलाई को सुबह करीब 11 बजे कूनो नेशनल पार्क की टीम मॉनिटरिंग कर रही थी. उसी दौरान उसकी नजर तेजस पर पड़ी. वो बुरी तरह जख्मी था. उसके गले के ऊपरी हिस्से पर गहरी चोट थी. मॉनिटरिंग टीम ने फौरन इसकी सूचना पालपुर मुख्यालय पर मौजूद वन्य प्राणि चिकित्सकों को दी.
कार्रवाई में उलझी रही डॉक्टरों की टीम
डॉक्टरों की टीम फौरन मौके पर पहुंची और तेजस की चोट देखी. उसे चोट गहरी लगी थी इसलिए टीम ने उसके इलाज के लिए उसे बेहोश करने की परमिशन मांगी. ये सारी कार्रवाई करने के बाद जब तक टीम मौके पर पहुंची तब तक लगभग दोपहर 2 बजे तेजस की मौत हो चुकी थी.