
सरकार जहां जंगल के संरक्षण व संवर्धन के लिए हर साल लाखों करोड़ों रुपए खर्च कर रही है। लेकिन वन विभाग वनों के संरक्षण एवं पेड़ों को बचाने में असफल रही है। कटिण्दा सर्कल के अलगा बेन्दो पानी मे सैकड़ों एकड़ भूमि पर वन क्षेत्र है जहां वन विभाग पेड़ों की अंधाधुंध कटाई पर रोक नहीं लगा पा रहा है। सुरक्षित वन क्षेत्र से प्रतिदिन पेड़ों की अंधाधुंध कटाई की जा रही है। तस्करों और कब्जा धारियों के द्वारा प्रतिदिन पेड़ों की कटाई की जा रही है। वनों की सुरक्षा के लिए वनपाल सहित बिट गार्ड की तैनात है। सुरक्षा के कई उपाय भी किए गए हैं लेकिन वनपाल क्षेत्र में जाते ही नहीं कागजों पर ही सुरक्षा का कार्य पूरा कर लिया जाता है वही विभाग द्वारा प्रत्येक वर्ष वनों की सुरक्षा और संरक्षण की योजना बनाई जाती है और धनराशि भी खर्च की जाती है लेकिन सुरक्षा व्यय की राशि खर्च हो जाती है। और पेड़ भी कट जाते हैं। वनों के पेड़ों की कटाई से वन्य प्राणियों के जीवन पर संकट उत्पन्न हो गया है। कुछ ऐसा ही मामला लखनपुर वन परिक्षेत्र के कटिनन्दा सर्कल के अलगा बेन्दो पानी जंगल में देखने को मिला जहां 4 ग्रामीणों के द्वारा कब्जे के नियत से कटिण्दा सर्कल के कक्ष क्रमांक की 2263 में सैकड़ों पेड़ों की कटाई करते हुए धान की खेती भी जंगल के बीचो-बीच कर दी गई है। जिसके बाद राष्ट्रपति के दत्तक पुत्र कहे जाने वाले कोरवा जनजाति के लोगों ने 23 अगस्त को वन विभाग कार्यालय लखनपुर पहुंच पेड़ों की कटाई तथा कब्जा को लेकर विभाग से लिखित शिकायत की है ग्रामीणों का आरोप है कि अब तक वन विभाग का कोई भी अधिकारी व कर्मचारी मौके पर नहीं आए हैं और ना ही किसी प्रकार की कार्यवाही की गई है। इससे पूर्व में भी बेन्दो पानी जंगल के दूसरे छोर में 5 से 7 एकड़ की भूमि पर हजारों की संख्या में पेड़ों की कटाई की गई थी। विभाग के द्वारा और कार्यवाही के नाम पर खानापूर्ति की गई साथ ही अलगा बेन्दो पानी जंगल में तस्करों और कब्जा धारियों के द्वारा आए दिन पेड़ों की कटाई की जाती है पेड़ों की कटाई पर अंकुश लगाने लखनपुर विभाग असफल रहा है। अब देखना होगा कि विभाग आगे किस प्रकार की कार्यवाही इन कब्जा धारियों वाह तस्करों पर करती है।
“””””””वन क्षेत्राधिकारी सूर्यकांत सोनी””””””
इस संबंध में लखनपुर वन क्षेत्राधिकारी सूर्यकांत सोनी से चर्चा करने पर उनके द्वारा कहा गया कि ऐसा कोई भी मामले की जानकारी मुझे नही है। अन्य कर्मचारियों से पूछ कर बता पाऊंगा। अपने निचले स्तर के कर्मचारियों से पूछने के बाद उनके द्वारा कहा गया कि POR की कार्यवाही की गई है।
इस संबंध में डीएफओ पंकज कमल से फ़ोन पर चर्चा करने पर उनके द्वारा कहा गया कि मुझे आप के माध्यम से जानकारी प्राप्त हुई है मौका जांच कर कार्यवाही कराता आता हूं ।


